रेलवे लाइन के लिए भूमि अधिग्रहण की कार्यवाही जारी, ग्राम बगवाड़ा में भूमि अधिग्रहण की…

भेरूंदा-  भेरूंदा क्षेत्र में लगातार रेलवे लाइन को लेकर भूमि अधिग्रहण की कार्यवाही लगातार एसडीएम मदन सिंह रघुवंशी के नेतृत्व में की जा रही है शनिवार को भी ग्राम बगवाड़ा मे 39 किसानों की 26.11 हेक्टेयर भूमि पर दल बल के साथ मोके पर पहुंचकर रेलवे विभाग के सुपुर्द किया, जिसमे जेसीबी के माध्यम से अधिग्रहण की कार्यवाही प्रारम्भ की गई।

   वही शुक्रवार को भी नायब तहसीलदार संदीप गौर एवं गोपालपुर थाना प्रभारी महेंद्र गौर के साथ मौके पर पहुचे थे, लेकिन किसानों के विरोध के बाद खाली हाथ वापस लौटना पड़ा था।

भूमि अधिग्रहण की…

    किसानों का आरोप था, कि जो मुआबजा राशि दी जा रही है, वह नाकाफी है, साथ ही किसानों का आरोप है कि बिना किसी सूचना के कार्यवाही की जा रही है। जिससे हमें अतिरिक्त नुक्सान उठाना पड़ रहा है, वही एक बार फिर शनिवार को दो थानो के बल के साथ जिले से अतिरिक्त बल बुलाकार कार्यवाही को अंजाम दिया गया।

    इस दौरान एसडीएम मदन सिंह रघुवंशी, एसडीओपी दीपक कपूर, नायाब तहसीलदार संदीप गौर, भैरुन्दा थाना प्रभारी घनश्याम दाँगी, गोपालपुर थाना प्रभारी महेंद्र गौर सहित दो थानो के बल एवं जिले से अतिरिक्त बल के लगभग 50 से अधिक संख्या मे पहुंचकर कार्यवाही को अंजाम दिया गया। वही विगत कुछ माह पूर्व भी ग्राम हलिया खेड़ी में किसानों की भूमि को अधिग्रहण कर रेलवे विभाग के सुपुर्द किया गया था।

     बता दे कि तात्कालिक विदिशा सांसद एवं केंद्रीय विदेश मंत्री स्वर्गीय सुषमा स्वराज द्वारा 04 अक्टूबर 2018 में रेलवे लाइन की मंजूरी देते हुए, पूर्व मुख्यमंत्री एवं केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराजसिंह चौहान द्वारा भूमि पूजन किया गया था। इसके बाद से लगातार रेलवे विभाग द्वारा ठेकेदार के माध्यम से कार्य कराया जा रहा है।

 रेलवे लाइन बुदनी से इंदौर (मांगलिया गांव) के बीच 205.5 किलोमीटर लम्बी नई रेल लाईन के निर्माण को मंजूरी दी है। नई लाईन से सिहोर, देवास तथा इंदौर जिलों को लाभ होगा और बुदनी से इंदौर के बीच सीधा संपर्क स्थापित होगा। इस परियोजना की कुल अनुमानित लागत 3261.82 करोड़ रुपये है। बड़ी बात यह है कि जबलपुर और इंदौर के बीच की दूरी 68 किलोमीटर कम हो जाएगी ओर आवागमन सुगम होगा एवं नये-नये रोजगार क्षेत्र में स्थापित होंगे।
उल्लेखनीय है कि विदिशा संसदीय क्षेत्र के अधिक से अधिक गांव इस रेल लाईन से लाभान्वित होंगे, इस परियोजना से क्षेत्र के पिछड़े वर्ग का विकास व नसरुल्लागंज, खातेगांव तथा कन्नौद जैसे विभिन्न कस्बो, गांवों से रेल संपर्क स्थापित होगा, जहां अभी रेल संपर्क नहीं है। परियोजना का मुख्य उद्देश्य पिछड़े क्षेत्रों का विकास तथा इंदौर से जबलपुर के बीच और इंदौर से मुम्बई तथा दक्षिण की ओर यात्रा के समय में कमी लाना है।
इससे भोपाल के रास्ते वर्तमान मार्ग की तुलना में इंदौर और जबलपुर के बीच की दूरी 68 किलोमीटर कम हो जाएगी। इससे क्षेत्र के लोगों और उद्योगों को बेहतर परिवहन सुविधा मिलेगी। उक्त प्रस्तावित रेल लाईन बुदनी के वर्तमान यार्ड से प्रारंभ होगी और इंदौर के निकट पश्चिमी रेलवे के वर्तमान स्टेशन मांगलिया गांव से जुड़ेगी। इस मार्ग पर दस नए क्रॉसिंग स्टेशन और सात नए हाल्ट स्टेशन बनाने का प्रस्ताव है। नई लाईन से सीहोर, देवास तथा इंदौर जिलों को लाभ होगा और बुदनी से इंदौर के बीच सीधा संपर्क स्थापित होगा। अभी बुदनी से बरखेड़ा घाट सेक्शन सहित भोपाल-इटारसी के भीड़ वाले मार्ग से जाना पड़ता है। नई लाईन आस-पास के क्षेत्र के औद्योगिक विकास के लिए बुनियादी ढ़ाचागत सुविधा प्रदान करेगी और इससे सामाजिक-आर्थिक लाभ होंगे।

सत्यप्रकाश ओझा, रेलवे अधिकारी

जिसको लेकर समय-समय पर किसानो की भूमि को अधिग्रहण कर प्रशासन द्वारा रेलवे विभाग के सुपुर्द किया जा रहा है। जिसको लेकर आज भी ग्राम बगवाड़ा में कार्यवाही करते हुए 39 किसानों की 26.11 हेक्टेयर भूमि अधिग्रहण की गई।

मदनसिंह रघुवंशी, एसडीएम भैरूंदा

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